महिला सशक्तिकरण और ग्राम पंचायि व्यवस्था
Keywords:
महिला सशाक्तिकरण, ग्राम पंचायती व्यवस्था, सवैधानिक अधिनियम, महत्व, महिलाएं, आरक्षण, विकास , आत्मविश्वास, भूमिकाAbstract
प्राचीन समय से ही भारत में महिलाओं का स्थान महत्वपूर्ण रहा है। महिलाएं किसी भी सभ्य समाज की आधारशिला है । लोकतान्त्रिक व्यवस्था में तो इनकी भागीदारी एवं अनिवार्यता और अधिक बढ़ जाती है। महिलाओं का सशक्तिकरण एक सर्वागीण एवं बहुआयामी दृष्टिकोण है। यह राष्ट्रीय विकास तथा राष्ट निर्माण की मुख्यधारा में महिलाओं की सक्रिय भागीदारी मे विश्रवास रखता है। एक राष्ट का स्र्वागीण विकास तभी संभव है जब महिलाओं को समाज में उनका यथोचित स्थान एवं पद दिया जाए । वर्तमान मे महिलाओं प्रत्येक क्षेत्र में अपनी उपस्थिति दर्ज करा रही है । सरकार भी उनको आगे बढने केलिए कई महत्वपूर्ण कदम समय-2 पर उठा रही है । जिनमें से एक महत्वपूर्ण कदम है - ग्राम पंचायत व्यवस्था । जिसके माध्यम से महिला संशक्तिकरण को और अधिक बढ़ावा मिला । खासतौर पर भारत जैसेदेश में जिसकी 65 से अधिक आबादी गांव में निवास करती है । पंचायती राज व्यवस्था के माध्यम से महिलाओं की स्थिति में सुधार का एक रास्ता खुल गया जिससे महिलाओं का सामाजिक आर्थिक और राजनीनिक विकास संभव हुआ है ।
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